हल्द्वानी में नहीं चलेगा बुलडोजर…सुप्रीम कोर्ट का 7 फरवरी तक ब्रेक…बड़ी आबादी को राहत

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हल्द्वानी में फिलहाल नहीं चलेगा बुलडोजर, अगली सुनवाई 7 फरवरी को होगी
आरोप है कि हल्द्वानी में करीब 4400 हजार परिवार रेलवे की जमीन पर अतिक्रमण करके रहते हैं. इस मामले में हाईकोर्ट ने दिसंबर 2022 में रेलवे को अतिक्रमण हटाने का आदेश दिया था. इस आदेश के बाद करीब 50 हजार लोगों के आशियाने पर बुलडोजर चलने का खतरा मंडरा रहा था, लेकिन अब अगली सुनवाई तक इन लोगों को राहत मिल गई है. सुप्रीम कोर्ट ने उत्तराखंड के हल्द्वानी में करीब 50 हजार लोगों को बड़ी राहत दी है. सुप्रीम कोर्ट ने हाईकोर्ट के उस आदेश पर स्टे लगा दिया है, जिसमें रेलवे को सात दिन में अतिक्रमण हटाने का आदेश दिया गया था. सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि 7 दिन में अतिक्रमण हटाने का फैसला सही नहीं है. सुनवाई के दौरान जस्टिस संजय कौल ने कहा कि इस मामले को मानवीय नजरिए से देखना चाहिए. जस्टिस कौल ने कहा कि मामले में समाधान की जरूरत है.

आरोप है कि हल्द्वानी में करीब 4400 हजार परिवार रेलवे की जमीन पर अतिक्रमण करके रहते हैं. इस मामले में हाईकोर्ट ने दिसंबर 2022 में रेलवे को अतिक्रमण हटाने का आदेश दिया था. इस आदेश के बाद करीब 50 हजार लोगों के आशियाने पर बुलडोजर चलने का खतरा मंडरा रहा था, लेकिन अब अगली सुनवाई तक इन लोगों को राहत मिल गई है.
7 फरवरी को अगली सुनवाई

इस मामले में सुप्रीम कोर्ट में अगली सुनवाई 7 फरवरी को होगी. कोर्ट ने नोटिस जारी कर सरकार, रेलवे समेत सभी पक्षों को जवाब दाखिल करने के लिए कहा है.

दरअसल, उत्तराखंड हाईकोर्ट ने 20 दिसंबर को रेलवे को निर्देश दिया कि एक हफ्ते का नोटिस देकर भूमि से अवैध अतिक्रमणकारियों को तत्काल हटाया जाए. इस मामले में हाई कोर्ट के आदेश के खिलाफ कांग्रेस विधायक सुमित ह्रदयेश की अगुवाई में वहां के रहने वाले लोगों ने सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की थी. इसके बाद प्रशांत भूषण ने भी एक याचिका दाखिल की. सुप्रीम कोर्ट सभी याचिकाओं पर एक साथ सुनवाई कर रहा है